भावनाओं का ज्वार है ये
कमजोरी की पहचान है ये
आगे बढ़ने की राह में
कांटा है ये
लक्ष्य भेदन की दृष्टि में
बाधा है ये
कृष्णा ने भी कहा है
आत्मीयता का जाल है ये
स्व का बंधन है ये
लक्ष्य को पाने के लिए
स्मृतियों को जीतना होगा
सवप्नों को साकार करने के लिए
स्वयंं पर काबू पाना होगा !
कमजोरी की पहचान है ये
आगे बढ़ने की राह में
कांटा है ये
लक्ष्य भेदन की दृष्टि में
बाधा है ये
कृष्णा ने भी कहा है
आत्मीयता का जाल है ये
स्व का बंधन है ये
लक्ष्य को पाने के लिए
स्मृतियों को जीतना होगा
सवप्नों को साकार करने के लिए
स्वयंं पर काबू पाना होगा !